उज्जैन मध्य प्रदेश का सबसे महत्वपूर्ण दार्शनिक स्थल है। यहां महाकालेश्वर के साथ-साथ कई दार्शनिक स्थल हैँ।
1- महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग – उज्जैन में स्थित महाकालेश्वर मंदिर भारत के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है। यहां प्रतिदिन लाखों श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं। यहां प्रत्येक सोमवार व सावन में विशाल भीड़ होती है। यह स्थल शिप्रा नदी के पूर्वी तट पर स्थित है। यहां देश-विदेश से श्रद्धालु दर्शन के लिए आते हैं। यहां पर महाकाल कॉरिडोर का निर्माण किया गया है जिससे श्रद्धालुओं को दर्शन में सुगम व्यवस्था मिलती है और कई प्रकार की कलाकृतियां देखने को मिलती हैं।
2- इस्कॉन मंदिर- उज्जैन में स्थित राधा कृष्ण का इस्कॉन मंदिर बेहद आकर्षक है। यह दार्शनिक स्थल होने के साथ-साथ अपनी कलाकृतियों के लिए भी जाना जाता है यह पूरा मंदिर सफेद पत्थरों से निर्मित है। देश विदेश के श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए आते हैं।
3- राम मंदिर – उज्जैन में स्थित राम मंदिर भगवान राम को समर्पित है जहां पर भगवान राम की प्रतिमा के साथ माता सीता और दूसरी तरफ भाई लक्ष्मण की प्रतिमा स्थापित है। वास्तु कला का यहां पर बहुत ही अच्छा उदाहरण वर्णित है जिसमें मूर्तियों से लेकर चित्रकला तक सुंदरता से परिपूर्ण है।
4- शनि मंदिर – उज्जैन में स्थित शनि मंदिर का विशेष महत्व है यह मंदिर 2000 साल पहले निर्मित किया गया था यह मंदिर आज भी गौरवान्वित करता है यहां पर नवग्रह मंदिर एकमात्र शिव मंदिर है जहां शनि देव को स्वयं भगवान शिव के रूप में स्थापित किया गया है। यहां की कलाकृतियां उज्जैन के अच्छे दर्शनीय स्थलों में से एक मानी जाती है।
5- गोमती कुंड – उज्जैन में वैसे तो कुंड और पर्यटन स्थल बहुत हैं परन्तु गोमती कुंड की मान्यता अलग है गोमती कुंड में विभिन्न पवित्र जल का अच्छा मिश्रण है इसलिए देशभर के तीर्थ यात्रियों के बीच यह लोकप्रिय पर्यटन स्थल है और यह महर्षि सांदीपनि आश्रम में स्थित है।
6- बिरला मंदिर – उज्जैन में स्थित बिड़ला मंदिर विश्व के प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है इसकी शाखा पूरे देश में फैली हुई है यह मंदिर भगवान विष्णु का मंदिर माना जाता है यहां की कलाकृतियां बहुत ही सुंदर और आश्चर्यचकित करने वाली हैं। इसकी नक्काशी बड़े शानदार ढंग से कटे हुए बलुआ पत्थर से की गई है जो की बहुत खूबसूरत दिखते हैं।
7- काल भैरव मंदिर – उज्जैन में स्थित काल भैरव मंदिर अपनी तांत्रिक प्रथा को लेकर प्रसिद्ध है यहां पर नंदी बैल के सामने बरगद के पेड़ के नीचे शिवलिंग स्थापित है यहां पर देश के विभिन्न प्रदेशों से लोग दर्शन के लिए आते हैं। यह प्रेत बधाओं की मुक्ति के लिए उपयुक्त स्थान माना जाता है। शास्त्रों के अनुसार महाकाल के दर्शन के पश्चात काल भैरव का दर्शन करना अत्यधिक शुभ माना जाता है।
8- चौबीस खम्भो वाला मंदिर – मध्य प्रदेश के उज्जैन स्थित 24 खम्भो वाला मंदिर जैसा कि नाम से ही पता चलता है कि इसमें 24 खंभे हैं यह अपनी अच्छी कलाकृतियों के रूप में भी देखा जाता है यह एक बहुत ही खूबसूरत पर्यटक स्थल है जहां पर देश के कोने-कोने से लोग दर्शन के लिए आते हैं।
9- मंगलनाथ मंदिर – उज्जैन में स्थित मंगलनाथ मंदिर शिप्रा नदी के तट पर बना हुआ है जहां पर प्रतिदिन हजारों दर्शनार्थी आते हैं। इस स्थान को मंगल ग्रह का जन्म स्थान माना जाता है। यहां दर्शनार्थी अपनी मंगल शांति की पूजा करने के लिए आते हैं। मान्यता है यहां दर्शन के पश्चात नकारात्मक ऊर्जा दूर होती है।
10- महर्षि सांदीपनि आश्रम – मध्य प्रदेश के उज्जैन जिले में महर्षि सांदीपनि का एक भव्य आश्रम स्थापित है यहां महर्षि सांदीपनि ने बलराम और सुदामा के साथ भगवान कृष्ण को प्रशिक्षित किया था। महर्षि सांदीपनि आश्रम का उल्लेख महाकाव्य महाभारत में किया गया है यहां आश्रम में एक विशाल पत्थर है जिसमें स्वयं गुरु संदीपनी द्वारा उकेरे गए शिलालेख मौजूद हैं।
11- गढ़कालिका मंदिर – उज्जैन शहर में स्थित पवित्र गढ़कालिका मंदिर है यह मंदिर छात्रों के लिए बहुत महत्व रखता है, यहां देवी कालिका की सुंदर मूर्तिकला इस मंदिर का मुख्य आकर्षण केंद्र है, यहां सुबह शाम दर्शनार्थी दर्शन व आरती के लिए आते हैं
12- विक्रम कीर्ति मंदिर संग्रहालय – उज्जैन में स्थित विक्रम कीर्ति मंदिर संग्रहालय आकर्षण का केंद्र है यहां राजा विक्रमादित्य की स्मृति में एक छोटा संग्रहालय निर्मित है। इस संग्रहालय में एक पुरातात्विक संग्रहालय, एक कलाकृति गैलरी, सभागार, सिंधिया ओरिएंटल रिसर्च इंस्टीट्यूट और मंदिर स्थापित है।
13- राम घाट – रामघाट उज्जैन का एक महत्वपूर्ण स्थल है यहां पर प्रत्येक 12 साल में कुंभ का मेला आयोजित होता है आम दिनों में यहां पर श्रद्धालु स्नान करने के लिए आते हैं। कुंभ के मेले में यहां पर स्नान करने वालों की संख्या लाखों में होती है।
14- गोपाल मंदिर – उज्जैन में स्थित गोपाल मंदिर भगवान कृष्ण को समर्पित है इस मंदिर में संगमरमर से बनी संरचना है, जिसके दरवाजे पर चांदी मढ़ी हुई है इस मंदिर का निर्माण 19वीं शताब्दी में हुआ था यह मंदिर भगवान कृष्ण के सर्वश्रेष्ठ मंदिरों में से एक है।
15- कालिदास अकादमी – उज्जैन मे कालिदास अकादमी महान कवि कालिदास की स्मृति में स्थापित की गई थी यहां पर बहुत प्रकार संस्थान है जिसमे कई प्रकार का शोध किया जा सकता है, यहां संस्कृत, पारंपरिक कला पर शोध किया जा सकता है। यह बहुत ही प्रसिद्ध अकादमी मानी जाती है इसमें संगीत, नृत्य, रिहर्सल के लिए अलग-अलग स्थान निर्धारित हैं। इससे जुड़ा हुआ एक अच्छा पार्क भी है।यह उज्जैन में घूमने के लिए अच्छा स्थान है।
महाकाल की नगरी उज्जैन में अन्य कई दार्शनिक स्थल मौजूद हैं इसके साथ-साथ कई रिजॉर्ट और प्राकृतिक स्थल मौजूद हैं।